रवि एक आलसी लड़का था। जब भी उसे अपने सपने याद आते, वो मोबाइल उठाता और सोचता, "कल से मेहनत करूंगा!" और फिर फेसबुक की स्क्रॉलिंग शुरू!
एक दिन रवि का दोस्त मिहिर आया और बोला,
"यार, तू क्या कभी मेहनत करने का सोचेगा? ये आलस्य छोड़!"
रवि बोला, "मिहिर, मेहनत तो बस है जैसे फोन का चार्ज, अगर देर से किया, तो लो बैटरी वाला मोड ही आएगा! "
मिहिर हंसी में बोला, "तू भी न, आलस्य के मामले में फोन जैसा है, चार्ज तो हर किसी को चाहिए, लेकिन प्लग कहीं और ही लगता है!"
रवि हंसते हुए बोला, "और देखो, तुम्हारे जैसे लोग पुराने इंटरनेट की तरह हैं, साइलेंट रहते हो, लेकिन नेटवर्क कभी नहीं मिलता! "
बस फिर क्या था, अगले दिन रवि ने ठान लिया, "आज से इंटरनेट छोड़, मेहनत का डेटा इस्तेमाल करना है!"
आज वही रवि एक बड़े प्रोजेक्ट का मालिक है और हर महीने फेसबुक के बजाय मेहनत के स्टेटस अपडेट करता है.
सीख:
अगर सपनों का Wi-Fi सिग्नल मजबूत है, तो आलस्य की सिग्नल डिस्टर्बेंस से बचो, कनेक्शन बनाओ, तो डेटा फास्ट चलेगा.


एक दिन रवि का दोस्त मिहिर आया और बोला,
"यार, तू क्या कभी मेहनत करने का सोचेगा? ये आलस्य छोड़!"
रवि बोला, "मिहिर, मेहनत तो बस है जैसे फोन का चार्ज, अगर देर से किया, तो लो बैटरी वाला मोड ही आएगा! "

मिहिर हंसी में बोला, "तू भी न, आलस्य के मामले में फोन जैसा है, चार्ज तो हर किसी को चाहिए, लेकिन प्लग कहीं और ही लगता है!"

रवि हंसते हुए बोला, "और देखो, तुम्हारे जैसे लोग पुराने इंटरनेट की तरह हैं, साइलेंट रहते हो, लेकिन नेटवर्क कभी नहीं मिलता! "

बस फिर क्या था, अगले दिन रवि ने ठान लिया, "आज से इंटरनेट छोड़, मेहनत का डेटा इस्तेमाल करना है!"
आज वही रवि एक बड़े प्रोजेक्ट का मालिक है और हर महीने फेसबुक के बजाय मेहनत के स्टेटस अपडेट करता है.

सीख:
अगर सपनों का Wi-Fi सिग्नल मजबूत है, तो आलस्य की सिग्नल डिस्टर्बेंस से बचो, कनेक्शन बनाओ, तो डेटा फास्ट चलेगा.

